रायसेन के जंगल में ले जाकर किया था युवक ने किशोरी से दुष्कर्म, 20 वर्ष की सजा
बाइक पर बैठाकर ले गया था, 14 दिन बाद रायसेन में मिली थी किशोरी

✍सर्च इंडिया न्यूज, रतलाम।
न्यायालय ने नाबालिग लड़की को भगाकर ले जाने व उससे दुष्कर्म करने के मामले में अभियुक्त 21 वर्षीय अर्जुन पिता लालू गरवाल निवासी ग्राम हरथल थाना रावटी को पॉक्सो एक्ट की धारा 5(एल)/6 में 20 वर्ष के सश्रम कारावास की सजा सुनाई। इस धारा में उस पर एक हजार रुपए का जुर्माना भी किया गया। फैसला पॉक्सो एक्ट के विशेष न्यायालय के न्यायाधीश राकेश कुमार शर्मा ने सुनाया।
सहायक निदेशक व जिला लोक अभियोजन अधिकारी आशा शाक्यवार ने बताया कि 4 मई 2022 को एक व्यक्ति ( फरियादी) ने रावटी थाने पर रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि वह पेड़ से गिरकर घायल हुए अपने लड़के का इलाज कराने रतलाम गया था। घर पर छोटे भाई की पत्नी और मेरी बहन करीब 17 वर्षीय थी। शाम करीब 7 बजे पुत्र का इलाज करा कर घर लौटा तो मुझे बहू ने बताया कि आपकी बहन शाम करीब 5 बजे घर से बगैर बताए कहीं चली गई है तथा अभी तक वापस नहीं आई है। गांव व आसपास उसकी तलाश की, लेकिन वह नहीं मिली । मुझे गांव वालो ने बताया है कि आरोपित अर्जुन पिता लालु गरवाल गांव में आया था। अर्जुन मेरी बहन से बात करता था। शंका है कि मेरी नाबालिग बहन को अर्जुन बहला-फुसलाकर भगाकर ले गया है। उसकी रिपोर्ट पर पुलिस ने अपहरण का प्रकरण दर्ज किया था।
बड़े पिता के घर हुई थी जान-पहचान
किशोरी को पुलिस ने 18 मई 2020 को रायसेन से बरामद किया था। उसने अपने कथन में बताया था कि अर्जुन उसके बड़े पिता के घर पर घोड़ी सिखाने के लिए आता था, जिससे उसकी जान-पहचान हो गई थी। अर्जुन ने उसे कहा था कि उससे शादी कर लो, मैंने मना कर दिया था। एक दिन अर्जुन उसे बाइक पर बैठाकर भोपाल साईड रायसेन के जंगल में ले गया था, वहां पर उसे पत्नी बनाकर रखा और उसके साथ जबरदस्ती दुष्कर्म किया था। कुछ दिन बाद पुलिस, भाई के साथ उसे ढूंढते हुए आई थी तथा वहां से उसे रावटी लाया गया था। लड़की के कथन व उसका मेडिकल कराने के बाद प्रकरण में पॉक्सो एक्ट की धारा 5एल/6 तथा भादंवि की धारा,366, 376 (2) (एन), 506 का इजाफा किया गया था। प्रकरण में शासन की तरफ से पैरवी विशेष लोक अभियोजक गौतम परमार ने की। परमार ने बताया कि न्यायालय ने अर्जुन को भादंवि की धारा 366 में 10 वर्ष के सश्रम कारावास एवं एक हजार रुपए जुर्माना व धारा 506 3 माह के सश्रम कारावास एवं एक हजार रूपये का जुर्माना से भी दंडित किया । सभी सजा साथ चलेगी।